श्याम तुम बिन न कोई चैना
होली आई श्याम – पर तुम न आए
ढूँढू तुमको कहाँ – कहाँ – 2
मुझ से विरह सहा न जाए – 2
श्याम आए नहीं क्यों न आए – 2
छलका आँखों से नीर
मन में न कोई धीर
बहता अविरल है नीर – तुम न आए
श्याम आए नहीं क्यों न आए
राह तकूँ रोय रोय – श्याम आओ
होली खेलो संग संग रिझाओ
थम रहा न नयना नीर
सूना सूना लगे यमुना तीर
छाया कदम्ब की भरमा रही है
आँसू विरह के टपका रही है
तुम बिन न पाए न कोई चैना
श्याम सुनलो विरह के वैना
श्याम तुम बिन न कोई चैना – 5
शनिवार , 15 मार्च 2025