अनन्तशायी शयन स्तुति
हे सर्वेश्वर – हे परमेश्वर, पदमनाभं.. →
अनन्तशायी शयन स्तुति
हे सर्वेश्वर – हे परमेश्वर, पदमनाभं.. →
महादेव शयन स्तुति
सोवो सोवो शिव अन्तरयामी – शयन रात्रि.. →
राम राम की रटन लगा लेन कोई बन्धू – न सुत दारान शत्रु को –.. →
राधे श्याम राधे श्याम राधे श्यामश्याम श्याम गाओ रेराधे श्याम.. →
जागृहि जागृहि हे नारायणअनन्तशायी पदमनाभम्चिर से श्यन मुद्रा.. →
जय गुरुदेव, जय गुरुदेव, जय गुरुदेव, जय जय गुरुदेव
गुरु हैं.. →
सोइये हे अनन्त अब, निशा छा रही,मंयक नभ में दिख रहे, प्रभा है.. →
श्यन करो प्रभु, प्रेम से हुई तुम्हारी रात,तब तक सपनों में.. →
आरती जनक दुलारी की – शोभामय सीता प्यारी की।विद्यादात्री.. →
महर्षि भृगु ब्रह्मा जी के मानसपुत्र दैत्य गुरु शुक्राचार्य.. →
|| स्व सुरक्षा हेतु श्री बगुलामुखि मंत्र ||
अपमृत्युभय, दुर्घटना,.. →
जय प्रेतराज राजा, जय प्रेतराज राजा। संकट मोचन वीरा, संकट मोचन.. →
आरती करो, भैरव की करो, भैरव की, काल भैरव की, आरती करो भैरव की।
सिर.. →
दोहा
अज अनादि अविगत अलख, अकल अतुल अविकार । वन्दौ शिव पद.. →